कार्डिनल परोलिन : इससे पहले कि अपूरणीय घटना घट जाए यूक्रेन में युद्ध को बढ़ने से रोकें

रोम विश्वविद्यालय में एक पुस्तक प्रस्तुति के अवसर पर कार्डिनल पिएत्रो परोलिन ने अंतर्राष्ट्रीय चिंताओं पर बात की, यूक्रेन में युद्ध को और बढ़ने से रोकने के लिए तत्काल कार्रवाई का आह्वान किया तथा संघर्ष को समाप्त करने की आवश्यकता पर बल दिया।

वाटिकन राज्य सचिव ने गज़ा में युद्ध अपराधों के आरोप में इजरायल के प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू के खिलाफ गिरफ्तारी वारंट जारी करने के अंतर्राष्ट्रीय आपराधिक न्यायालय के फैसले पर कोई टिप्पणी नहीं की, लेकिन उन्होंने यूक्रेनी युद्ध में हाल के घटनाक्रमों पर परमधर्मपीठ की गहरी चिंता व्यक्त की, जिसमें लंबी दूरी की मिसाइलों की तैनाती और व्यापक वैश्विक संघर्ष का बढ़ता खतरा शामिल है।

शुक्रवार को रोम में किताब विमोचन के दौरान कार्डिनल परोलिन ने पोप फ्राँसिस की टिप्पणी कि क्या गज़ा में इजरायली युद्ध, जहाँ मृत्यु दर 44,000 से अधिक हो गई है, उसे "नरसंहार" के रूप में वर्गीकृत किया जा सकता है के सवाल का उत्तर दिया।

उन्होंने कहा, “संत पापा ने परमधर्मपीठ की स्थिति व्यक्त की है, कि इन मामलों का गहन अध्ययन किया जाना चाहिए क्योंकि नरसंहार की अवधारणा को परिभाषित करने के लिए तकनीकी मानदंड हैं।"

 यूक्रेन की चिंता
कार्डिनल परोलिन ने आगे कहा कि वाटिकन ने नेतन्याहू के गिरफ्तारी वारंट पर "गौर किया" है और दोहराया है कि उनकी मुख्य चिंता है युद्ध समाप्त हो।

उन्होंने यूक्रेन की स्थिति और रूसी क्षेत्र में ब्रिटिश एवं अमेरिकी निर्मित मिसाइलों को दागने के निर्णय के संभावित परिणाम और वैश्विक संघर्ष के संबंध में पुतिन की धमकियों पर चिंता व्यक्त की।

कार्डिनल परोलिन ने कहा, “मैं संत पापा के विचार और उनकी चिंता को प्रतिध्वनित करता हूँ : हमें समय रहते रोक लेना चाहिए। यह वृद्धि नियंत्रण से बाहर हो सकती है, जिसका परिणाम कोई नहीं देख सकता है।"

कैदियों की अदला-बदली और बच्चों की स्वदेश वापसी
युद्ध की क्रूरता पर चिंतन करते हुए कार्डिनल ने कहा, "यह कहना कठिन है कि इस युद्ध के दौरान इससे भी बुरा समय कभी आया है," उन्होंने आगे कहा, "वर्तमान घटनाक्रम निश्चित रूप से बहुत परेशान करनेवाला है।"

वाटिकन राज्य सचिव ने पुष्टि की कि परमधर्मपीठ कैदियों के आदान-प्रदान को सुगम बनाने तथा जबरन रूस ले जाए गए यूक्रेनी बच्चों की सुरक्षित वापसी के लिए अपने प्रयास जारी रखेगा।

हालांकि इन मोर्चों पर कोई नयी बात सामने नहीं आई है, उन्होंने इस बात की पुष्टि दी कि वाटिकन इन प्रयासों को जारी रखने का दृढ़ संकल्प करता है। उन्होंने कहा कि यह एक मानवीय मुद्दा है, लेकिन यह “अंतिम बातचीत की दिशा में” भी एक कदम है।

गज़ा पर पोप के शब्द
गज़ा की स्थिति पर पोप फ्राँसिस की टिप्पणी पर बोलते हुए, जहां मृतकों की संख्या 44,000 से अधिक हो गई है, कार्डिनल परोलिन ने कहा कि पोप ने “विशेषज्ञों” की राय का हवाला दिया है जो सुझाव देते हैं कि गज़ा में घटनाएँ नरसंहार के समान हो सकती हैं।

उन्होंने स्पष्ट किया कि, "संत पापा ने परमधर्मपीठ की स्थिति को दोहराया है, तथा अंतर्राष्ट्रीय कानूनी मानकों द्वारा परिभाषित तकनीकी मानदंडों के आधार पर सावधानीपूर्वक अध्ययन की आवश्यकता पर बल दिया है" तथा इस बात पर जोर दिया कि पोप की टिप्पणी वाटिकन के सतत रुख को प्रतिबिंबित करती है, जो ऐसे गंभीर मामलों पर निष्कर्ष निकालने से पहले कड़ी जांच का आह्वान करता है।

यहूदी-विरोध के खिलाफ कड़ा रुख
यहूदी-विरोध के मुद्दे पर, कार्डिनल परोलिन ने इस घटना की वाटिकन की अटूट निंदा की पुष्टि की।

उन्होंने कहा, "परमधर्मपीठ की स्थिति स्पष्ट है, हमने हमेशा यहूदी-विरोध की निंदा की है और ऐसा करना जारी रखेंगे, इसकी स्पष्ट अस्वीकृति के लिए परिस्थितियों को बढ़ावा देंगे और हर रूप में इसका मुकाबला करेंगे।"